Starlink Broadband: वर्ल्ड के लोकप्रिय बिजनेसमैन एलन मस्क की स्टारलिंक फिर से भारत में पैर पसारने जा रही है। देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इन दिनों अमेरिकी दौरे पर है। इस विशेष बैठक में कई मुद्दों पर मंथन हुआ। बैठक के बाद एलन मस्क ने घोषणा की कि उनकी कंपनी इंडिया में सेटेलाइट इंटरनेट सर्विस को लॉन्च करने के प्लान के तहत काम कर रही है। भारत में स्टारलिंक के आने से पूरी तरह इंटरनेट का स्वरूप बदल जाएगा।
क्या है Starlink Broadband का उद्देश्य?
स्टारलिंक एक सैटेलाइट कॉन्स्टीलेशन प्रणाली है जो दूरदराज के क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को इंटरनेट उपलब्ध कराती है। आप जानकर दंग रह जाएंगे कि इसी साल के मई तक स्टारलिंक के पास 4000 से अधिक सेटेलाइट उपलब्ध थी। स्टार लिंक ने 2001 में भारत में पंजीकरण कराया, जिसका नाम स्टारलिंक सेटेलाइट कम्युनिकेशन प्राइवेट लिमिटेड है।
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Starlink Broadband की एंट्री से क्या होगा लाभ?
सबसे बड़ा प्रश्न है कि भारत में स्टारलिंक की इंट्री से क्या फायदा होगा। स्टारलिंक की फैसिलिटी का साथ भारत में इंटरनेट की रफ्तार में जबरदस्त बढ़ोतरी होगी। इससे भारत के इंटरनेट इको सिस्टम में बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा। बताते चलें कि कंपनी फिलहाल 300mb प्रति सेकेंड की रफ्तार का दावा करती है। लेकिन, पिछड़े एरिया में इतनी रफ्तार मिलना थोड़ा कठिन है। फिर भी स्टारलिंक के चलते हाई स्पीड इंटरनेट में बेहतर सुधार होगा।
इंडिया में Starlink Broadband की कीमत को लेकर माथापच्ची।
कई एक्सपर्ट इसकी कीमत को लेकर अधिक चिंतित हैं। उनका मानना है कि इंडिया में इंटरनेट काफी सस्ता है मगर स्टारलिंक प्लांस काफी अधिक महंगे हैं। देखने की बात यह होगी कि क्या स्टारलिंक इस प्रतिस्पर्धा में ग्राहकों के बीच पैठ बना पता है या नहीं। बताते चलें कि अमेरिका में स्टारलिंक के मंथली प्लांस लगभग 7374 रुपये हैं। Starlink Broadband सर्विस बुक करने के लिए आप स्टालिन की आधिकारिक वेबसाइट पर विजिट कर सकते हैं।