बिहार में स्मार्ट सिटी शहरों के लिस्ट में शुमार भागलपुर को स्मार्ट स्टेशन की सौगात मिली है। गति शक्ति योजना के अंतर्गत स्मार्ट स्टेशन निर्माण की तैयारी शुरू हो गई है। इसके तहत स्टेशन पर एयरपोर्ट की तरह सुविधाएं विकसित की जाएंगी और उसी अनुसार स्टेशन पर निर्माण काम करवाए जाएंगे। परियोजना पर 150 से 200 करोड़ रुपए की लागत आएगी। योजना के तहत भागलपुर के अतिरिक्त से सुल्तानगंज स्टेशन का चयन किया गया है। पहले फेज में भागलपुर स्टेशन फिर सुल्तानगंज स्टेशन को विकसित किया जाएगा। यह परियोजना अगले 4 साल में भागलपुर में पूरी हो जाएगी। मालदा रेल डिवीजन एडीआरएम यतेंद्र कुमार ने इस बारे में शनिवार को भागलपुर में मीडिया से मुखातिब होते हुए जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि गति शक्ति योजना के तहत यहां काम किया जाना है। इसके लिए मंडल स्तर पर एक टीम होगी। इसके लिए मुख्य परियोजना अभियंता बहाल किए गए हैं और स्टेशन सर्वे का कार्य पूरा हो गया है। सर्वे में तकरीबन 6 करोड़ खर्च किए गए हैं। उन्होंने कहा कि स्टेशन पर रूफ टॉप कंस्ट्रक्शन और अंडर पास निर्माण सहित पुलिस स्टेशन के लुक को चेंज करने का काम किया जाएगा।
उन्होंने जानकारी दी कि भागलपुर स्टेशन पर पूर्व से रेल भूमि विकास अथॉरिटी से शॉपिंग सेंटर के विकास का काम जारी है। आगामी दिनों में देश के चुनिंदा स्टेशनों में भागलपुर का नाम शुमार होगा। स्मार्ट स्टेशन परियोजना के तहत पहले फेज में देश के 70 स्टेशनों का चयन हुआ है। नए नियुक्त होने वाले डीआरएम इन सभी योजनाओं को पूर्ण करने के लिए निश्चित तौर पर सार्थक पहल करेंगे। मालूम हो कि डीआरएम यतेंद्र कुमार का ट्रांसफर हो गया है। उनका स्थान लेने नए डीआरएम विकास चौबे आ गए हैं। फिलहाल यतेंद्र पदस्थापना की उम्मीद में है।
उन्होंने कहा कि भागलपुर दुमका सेक्शन, बांका और गोड्डा सेक्शन में बिजलीकरण का काम कराया गया। ट्रैक की कैटोगरी को अपग्रेड कर ट्रेनों की स्पीड बढ़ाई गई। कुछ नई ट्रेनों का परिचालन हुआ जिससे इलाके के यात्रियों को खूब सुविधा हुई। आगामी दिनों में ट्रेनों की संख्या में और बढ़ोतरी होगी। सुल्तानगंज धार्मिक पर्यटन का जगह है इसलिए उस स्टेशन पर फुट ओवरब्रिज, लिफ्ट का निर्माण किया गया।
डीआरएम ने बताया कि अपने दो साल 11 माह के कार्यकाल में उन्होंने सबसे बड़ा स्टेशन होने के वजह से भागलपुर को ध्यान में रखा। गंगा से ट्रीटमेंट प्लांट के माध्यम से स्टेशन पर जलापूर्ति योजना पर कार्य शुरू करा पाने का मलाल रहेगा। मगर इसके अतिरिक्त कई काम हुए हैं। भागलपुर में दो-दो ऑटोमेटिक सीढ़ी का निर्माण किया गया। चार लिफ्ट स्थापित किए गए।