गया जिला के बोधगया में भारतीय प्रबंधन संस्थान का चल रहा सेटेलाइट केंपस गोहावर पटना के बगल में बिहटा में खोला जाएगा। बिहटा के सिकंदरपुर औद्योगिक क्षेत्र में इस सेटेलाइट कैंपस को बनाया जाएगा। भारतीय प्रबंधन संस्थान को 90 साल के लिए पांच एकड़ जमीन लीज पर बिहार औद्दोगिक क्षेत्र विकास प्राधिकार ने दिया है। कुल 11 करोड़ 24 लाख 57 हजार रुपए की लागत इस कैंपस पर आएगी। बिहार सरकार ने इसके लिए राशि आवंटित कर दी है।
बिहार के महालेखाकार को राज्य सरकार के उप सचिव के जरिए 25 मई को लेटर जारी किया गया है जिसमें भारतीय प्रबंधन संस्थान बोधगया के सेटेलाइट कैंपस का निर्माण बिहटा में शुरू कराए जाने को लेकर जरूरी औपचारिकताएं पूर्ण करने को कहा गया है। औपचारिकताएं पूरी होते ही जल्द ही कैंपस का निर्माण शुरू हो जाएगा।
बता दें कि जो जमीन बिहटा में भारतीय प्रबंधन संस्थान को लीज पर दी गई है, वह मगध यूनिवर्सिटी की है। राज्य सरकार के हस्तक्षेप के पश्चात मगध यूनिवर्सिटी परिसर में ही यूनिवर्सिटी की जमीन को भारतीय प्रबंधन संस्थान को हस्तांतरित किया गया। मालूम हो कि आईआईएम मगध यूनिवर्सिटी के शिक्षा विभाग का भवन बोधगया में चल रहा है। बीते महीने ही संस्थान का चौथा दीक्षांत समारोह संपन्न हुआ है। फिलहाल आईआईएम बोधगया के परिसर का निर्माण जारी है। 900 करोड़ की राशि खर्च कर किए जा रहे इस काम को पूरा होने में 2 से 3 साल का वक्त लगेगा।
बता दें कि 5 गांवों को आईआईएम बोधगया ने गोद ले रखा है। इन गांवों के कायाकल्प करने का बीड़ा आईआईएम बोधगया ने उठाया है। ग्रामीण इलाके को बच्चों को मुफ्त में शिक्षा दी जा रही है। शारीरिक रूप से लाचार बच्चों को भी सहयोग मिल रहा है। उन्हें व्हील चेयर देना, बैसाखी बांटना और उपचार कराना जैसे काम चल रहे हैं। समय-समय पर स्वास्थ्य शिविर और रक्तदान शिविर का आयोजन हो रहा है।